सुक्खू सरकार के खिलाफ सड़कों पर उतरेंगे पेंशनर्स
सरकार के मंत्रियों और विधायकों के घेराव की तैयारी
न डीए मिल पाया और न ही लंबित देनदारी का भुगतान
INN/Himachal, @Infodeaofficial
हिमाचल में सुक्खू सरकार पर वित्तीय संकट अभी भी बना हुआ है। कर्मचारियों के बाद अब प्रदेश के पेंशनरों ने लंबित भुगतान न होने को लेकर और पेंशन के देरी से भुगतान होने को लेकर मंत्रियों और विधायकों के घेराव की चेतावनी दी है और मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू पर पेंशनरों को नजरअंदाज करने का आरोप लगाया है।
सुक्खू सरकार के खिलाफ हिमाचल में कभी बेरोजगार सड़कों पर उतरते हैं तो कभी कर्मचारी कभी छात्र नाराज होते हैं तो कभी पेंशनर्स। इस बार पेंशनरों ने मोर्चा खोला है और वो भी 1 अक्टूबरअंतरराष्ट्रीय वरिष्ठ नागरिक दिवस के मौके पर। एक तरफ दुनिया अंतरराषाट्रीय वरिष्ठ नारगिक दिवस मना रही है और दूसरी तरफ हिमाचल में वरिष्ठ नागरिकों की पेंशनर वेलफेयर एसोसिएशन सरकार की नजरअंदाजी का रोना रो रही है।
पेंशनरों की मांग है कि सरकार ने उन्होंने 12 फीसदी डीए का भुगतान अब तक नहीं किया है। पेंशनरों का कहना है कि अगर सरकार लोन लेकर उन्हें पेंशन देती है और उस लोन का इंटरस्ट देने के लिए सरकार के पास डेढ़ करोड़ रुपये नहीं है। तो वो डेढ़ करोड़ रुपये पेंशनर खुद सरकार को देने के लिए तैयार है लेकिन शर्त ये है कि उन्हें पेंशन हर महीने एक तारीख को दी जाए।
पेंशनरों को सितंबर महीने में भी पेंशन का भुगतान 10 तारीख को किया गया था और इस बार भी 9 अक्टूबर को पेंशन का भुगतान करने का सरकार ने भरोसा दिया है लेकिन पेंशनरों को ये देरी मंजूर नहीं है। साथ ही लंबित डीए का भुगतान न करने को लेकर भी पेंशनर नाराज हैं।
पेंशनर एसोसिएशन ने ये भी आरोप लगाया है कि मुख्यमंत्री के पास पेंशनरों से मिलने तक का वक्त नहीं है और अगर सरकार ने जल्द पेंशनरों की मांगें नहीं मानी तो सरकार के सभी विधायकों और मंत्रियों का घेराव किया जाएगा। उन्होंने 12 फीसदी डीए और अन्य लंबित राशि का तुरंत भुगतान करने की मांग की है।
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