आईआईएन/चेन्नई, @Infodeaofficial
आईआईटी मद्रास के विद्यार्थियों ने युके इंडिया सोशल इनोवेशन चैलेंज में पहला और तीसरा स्थान प्राप्त किया है। इस प्रतियोगिता का मुख्य उद्देश्य कचरा प्रबंधन की वैश्विक समस्या के लिए स्थाई समाधान, राशी और खोज को प्रोत्साहन देना है। यह आयोजन युके इंडिया सोशल इंटरप्रेनरशिप एजुकेशन नेटवर्क (युकेआईएसईईएन) द्वारा कराई गई।
यह आयोजन साउथएम्पटन विश्वविद्यालय के सोशल इंपैक्ट लैब और आईआईटी मद्रास के सेंटर फॉर सोशल इनोवेशन एंड इंटरप्रेनरशिप के संयुक्त तत्वावधान में इनोवेशन प्लेटफार्म ‘बाबेले’ एंड ब्रिट्रिश काउंसिल के तहत कराया जाता है।
इस प्रतियोगिता के महत्व के बारे में जानकारी देते हुए आईआईटी मद्रास के केमिकल इंजीनियरिंग विभाग के प्रमुख प्रोफेसर आर. नागराजन ने बताया कि यह प्रतियोगिता विद्यार्थियों की खोजी कौशल और व्यवसाय कुशाग्रता की जांच करती है। इसके लिए विद्यार्थियों को सोशल इंटरप्राइज के लिए बिजनस मॉडल पेश करना पड़ता है।
प्रतियोगिता के अंतिम चरण में 12 प्रोजेक्ट का चयन किया गया। पहला स्थान सौर ऊर्जा का व्यवहार कर रिसाइकलिंग ऑफ डिमोलिश्ड वेस्ट कांक्रीट बनाने वाली आईआईटी मद्रास टीम ने बनाया।
दूसरा स्थान इकोफ्रेंडली कंस्ट्रक्शन ब्लॉक्स जिसे सीएंडडी डेबरिश से इनोवेटिव सीओ2 सीक्वेसट्रेशन टेकनिक को व्यवहार में लाकर तकनीक बनाने वाली ईरोड के कोंगु इंजीनियरिंग कॉलेज के विद्यार्थियों की टीम को मिला।
कटालाइटिक डीग्रेडेशन ऑफ क्राफ्ट लिगनिन अल्ट्रावाइलेट लाइट और अल्ट्रासाउंड का इस्तमाल करने वाली तकनीक बनाकर आईआईटी मद्रास की टीम ने तीसरे स्थान पर अपनी जगह बनाई।
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