हर चौथे गांव में होगा स्वास्थ्य व कल्याण केंद्र

— विश्व की सबसे बड़ी स्वास्थ्य बीमा योजना आयुष्मान भारत का शुभारंभ
— केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि यह गरीबों के लिए मोदी कवच है

— 10 करोड़ से अधिक परिवारों के 50 करोड़ सदस्यों को मिलेगी देश के बड़े सरकारी व निजी अस्पतालों में 5 लाख रुपए तक नि:शुल्क उपचार की सुविधा

आईएनएन/नई दिल्ली @Infodeaofficial 

देश की बदहाल चिकित्सा व्यवस्था में सुधार की किरण दिख रही है। यदि केंद्र सरकार अपनी मंशा फलीभूत कर पायी तो देश में चार वर्षों के अंदर 1.5 लाख स्वास्थ्य व कल्याण केंद्र खुलेंगे। इसका मतलब हुआ कि देश के कुल 6.5 लाख गांवों में औसतन हर चार गांव पर एक स्वास्थ्य कल्याण केंद्र होगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने झारखंड की राजधानी रांची से दुनिया के सबसे बड़ी स्वास्थ्य बीमा योजना का शुभारंभ करते हुए कहा कि इस पर काम शुरू किया गया है और विभिन्न् क्षेत्रों में 2300 से अधिक ऐसे केंद्र खोले जा चुके हैं। चार वर्षों में देश में ऐसे 1.5 लाख केंद्र खोलने का लक्ष्य पूरा कर लिया जाएगा।
इससे पहले मोदी ने स्वास्थ्य बीमा योजना-प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना की शुरूआत की। प्रधानमंत्री ने चाईबासा और कोडरमा में मेडिकल कॉलेजों की आधारशिला भी रखी और 10 स्वास्थ्य और कल्याण केंद्रों का भी उद्घाटन किया। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि इस योजना की शुरूआत गरीबों में गरीब, और समाज के वंचित वर्गों को बेहतर स्वास्थ्य सेवा और उपचार प्रदान करने के उद्देश्य से किया गया है।

यह योजना मोदी सरकार की महात्वाकांक्षी योजना है। पिछले 15 अगस्त को लाल किले से प्रधानमंत्री मोदी ने इसकी घोषणा की थी। 25 सितम्बर से इस योजना के तहत लोगों को लाभ मिलना शुरू हो जाएगा। योजना के तहत प्रति वर्ष प्रत्येक परिवार को 5 लाख रुपये के स्वास्थ्य बीमा कवर दिया जाएगा। इससे 50 करोड़ से अधिक लोगों को फायदा होगा और यह दुनिया की सबसे बड़ी स्वास्थ्य बीमा योजना है। इसमें 1350 प्रकार की बीमारियों के नि:शुल्क उपचार की सुविधा होगी और बीमाधारक परिवार के सदस्यों को चिकित्सा जांच की भी सुविधा मिलेगी। इसके तहत देश के बड़े सरकारी व निजी अस्पतालों में नि:शुल्क उपचार होगा। अभी तक देश के 17000 से अधिक सरकारी व निजी अस्पताल इसमें शामिल हो चुके हैं। योजना के तहत राज्य के बाहर के किसी सरकारी या निजी अस्पताल में भी नि:शुल्क उपचार कराया जा सकेगा।

मोदी ने कहा कि इस योजना के लाभार्थियों की संख्या यूरोपीय संघ की आबादी के बराबर है या अमेरिका, कनाडा और मेक्सिको की संयुक्त जनसंख्या के करीब है। उन्होंने कहा कि आयुष्मान भारत के पहले हिस्से – स्वास्थ्य और कल्याण केंद्र-की शुरूआत बाबा साहेब अम्बेडकर की जयंती पर किया गया था, और दूसरा भाग – स्वास्थ्य बीमा योजना-दीन दयाल उपाध्याय की जयंती से दो दिन पहले शुरू किया गया था।

प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के तहत आयुष्मान भारत योजना में कैंसर और हृदय रोग जैसी गंभीर बीमारियों सहित 1350 बीमारियों के नि:शुल्क उपचार की सुविधा होगी। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि 5 लाख की राशि में सभी जांच, दवा, अस्पताल में भर्ती के खर्च आदि भी शामिल होंगे। उन्होंने कहा कि इसके तहत यह पूर्व बीमारियों भी आएंगी। उन्होंने कहा कि लोग 14555 डायल करके या सेवा केंद्र के माध्यम से इस योजना के बारे में अधिक जान सकते हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि उन राज्यों के लिए जो पीएमजेएवाई का हिस्सा हैं, लोग इन राज्यों में से किसी भी राज्य में जा रहे हैं, तो भी इस योजना का लाभ प्राप्त कर सकते हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि केंद्र सरकार देश में स्वास्थ्य क्षेत्र में सुधार के लिए समग्र दृष्टिकोण के साथ काम कर रही है। उन्होंने कहा कि उनका ध्यान “वहनीय हेल्थकेयर” और “निवारक हेल्थकेयर” दोनों पर क्रेन्द्रित है। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि पीएमजेएवाई से जुड़े सभी लोगों के प्रयासों और डॉक्टरों, नर्सों, स्वास्थ्य प्रदाताओं, आशा, एएनएम आदि के समर्पण के माध्यम से यह योजना सफल होगी।

लखनऊ में इस योजना की शुरुआत करते हुए केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि लखनऊ में गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने अब तक की सबसे बड़ी इस स्वास्थ्य योजना का फायदा दस करोड़ से ज्यादा गरीब परिवारों को होगा। योजना के तहत प्रति परिवार को 5 लाख रुपये की सालाना स्वास्थ्य सुविधा मुहैया कराई जाएगी। उत्तर प्रदेश में 1 करोड़ 18 लाख परिवारों को इस योजना के दायरे में लिया गया है।

आयुष्मान भारत को स्वास्थ्य क्षेत्र में एक बड़ा गेम चेंजर बताते हुए राजनाथ सिंह ने कहा कि इसमें सर्जरी, डे केयर, दवा और जांच सभी शामिल हैं। गृहमंत्री ने कहा कि यह एक व्यापक योजना है जिसमें स्वास्थ्य के साथ ही साथ आरोग्य को भी शामिल किया गया है। सरकारी अस्पतालों के अलावा निजी क्षेत्र के नामित अस्पतालों से भी इस योजना के तहत इलाज कराया जा सकेगा। सिंह ने आयुष्मान भारत को गरीबों के लिए मोदी का कवच बताया और कहा कि देश भर में 3 लाख से भी ज्यादा केन्द्रों को इससे जोड़ा जाएगा। इसके अलावा आयुष मित्रों की तैनाती की जाएगी। आयुष्मान भारत स्वास्थ्य के क्षेत्र में रोजगार के नए अवसर पैदा करेगा। उन्होने कहा कि पुरानी और नई सभी बीमारियों को इसमें शामिल किया गया है और यह योजना पेपरलेस तथा कैशलेस होगी। गृहमंत्री ने कहा कि सरकार की मंशा है कि देश के सकल घरेलू उत्पाद का कम से कम 2.5 फीसद स्वास्थ्य पर खर्च हो।

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