आईआईएन/चेन्नई, @Infodeaofficial
मद्रास उच्च न्यायालय ने सरकार से पूछा है कि तमिलनाडु में शराब से होने वाली मौतों के लिए क्यों नहीं उसे जिम्मेदार ठहराया जाए?
न्यायालय ने एक जमानत याचिका पर सुनवाई करते हुए यह सवाल किया।
याची वीरासामी कोयम्बत्तूर में शराब के नशे में दो जनों के आपस में भिडऩे और खुदकुशी करने के मामले में आरोपी है। पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया था।
वीरासामी ने हाईकोर्ट में जमानत अर्जी लगाई। न्यायिक पीठ ने बुधवार को इस पर सुनवाई की। पीठ ने इन मौतों पर गहरी वेदना व्यक्त की। न्यायाधीशों ने कहा कि राज्य सरकार ही शराब बेचने का कारोबार कर रही है।ऐसे में शराब से होने वाली मौतों की जवाबदेही वह क्यों नहीं लेती?
हाईकोर्ट ने कहा कि सरकार का हर महीने शराब की बिक्री से 21 करोड़ रुपए का लाभ दिखाना भी निराशाजनक है। राज्य की युवा आबादी का बड़ा हिस्सा शराब की लत का शिकार है। न्यायाधीशों ने सुनवाई 4 अप्रेल तक स्थगित करते हुए सरकार को जवाबी नोटिस भेजा है।
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