जानिए कब ख़त्म होगा भारत में कोरोना का प्रभाव..!

INN/Chennai,@infodeaofficial
विश्व में जब भी महामारी आती है तब शनि भगवान कर्क राशि को देखे रहे होते हैं या कर्क राशि में हो, मंगल दृष्ट हो या शनि मंगल को देखें या मंगल से शनि 6 या 8वी राशि मे हो। राहु और केतु मिथुन राशि में हो और ऋषभ राशि में जाएं। ऐसे समय पर महामारी का खतरा हमेशा रहता है व प्राकृतिक आपदा भूकंप, अति वर्षा जल प्रलय आदि देखने को मिलती है और जब राहु या केतु के साथ ग्रहण योग हो तो गृह युद्ध व विश्व युद्ध की संभावनाएं बनती हैं। वर्ष 1918 मैं ऐसी ही परिस्थिति थी जब शनि भगवान कर्क राशि से अपनी तीसरी दृष्टि कन्या राशि के मंगल पर बनाए हुए थे राहु धनुष राशि में और केतु मिथुन राशि में थे।
इस परिस्थिति ने उस वक्त महामारी की शुरुआत की थी और जब राहु केतु ऋषभ और वृश्चिक में चले गए और गुरु भगवान कर्क में आ गए तब महामारी पूर्ण रूप से समाप्त हो गई थी। स्पेनिश फ्लू ने उस वक्त भी दुनिया के लोगों को काफी परेशान किया था।
आज की जो परिस्थिति है यह भी वैसी ही है। 2019 में जो ग्रह स्थिति देखी उस वक़्त राहु मिथुन राशि में और केतु धनुष राशि में थे। शनि भगवान धनुष राशि से जैसे ही मकर राशि में प्रवेश किया और कर्क राशि को देखना चालू किया वहां से यह महामारी अति तीव्र हो चुकी है। राशियों की यह दशा विश्व युद्ध के भी संकेत देते है। अब इसकी समाप्ति धीरे-धीरे हो जाएगी लेकिन इसका थोड़ा थोड़ा असर जुलाई महीने तक रहेगा।
दवा मिलेगी धीरे धीरे गुरु भगवान जो अतिचार में है यह वापस वक्री होगे। जून महीने के आस-पास वापस धरती पर सुधार होगा।
प्रसिद्ध ज्योतिष महेश वर्मा बताते हैं कि करोना की दूसरी लहर भारतीयों को ही नहीं बल्कि विश्वाभर के लोगों को डरा रही है इसका मुख्य कारण ग्रहों की स्थिति है 4 मई से राहु के साथ शुक्र ग्रह की स्तिथि एक हो गई। वह 29 तारीख में के बाद शुक्र मिथुन राशि में प्रवेश करेंगे वहां से महामारी में कमी होगी। 29 मई के बाद स्थिति में सुधार होगा रोग व मौत का आंकड़ा कम होने लगेगा और 16 जून को सूर्य जब राहु के चुंगल से मुक्त हो जाएंगे तब भारत के लोगों को बड़ी राहत मिलेगी।
कई राज्यों में स्थिति में धीरे धीरे सुधार आएगा और 7 जुलाई के बाद से स्थिति लगभग सामान्य हो जाएगी। कोरोना विश्व में रहेगा लेकिन दूसरे रूप में रहेगा जिसका असर फिर 15 नवंबर के समय देखा जाएगा या फिर विश्व और कोई विपदा देखने को मिलेगी जो 3 महीने तक परेशान करेगा। तब तक महामारी की दवा पूर्ण रूप से मिल जाएगी। यहां गुरु भगवान का राशि प्रवेश मकर राशि से कुंभ राशि में 21 नवंबर को होगा जो देश विदेश के बड़े-बड़े बेईमानों की साजिश का भी पर्दा फास करेगा। शनि व गुरु की स्थिति यह दर्शाती है कि देश विदेश की शक्तियां बहुत सारे देशों को अपने दबाव में लाने की कोशिश कर रही है। इन शक्तियों के दबाव में भारत भी बहुत कुछ गलत निर्णय लेगा राहु ग्रह नॉन हिंदू है जो विश्व को चलाने की कोशिश कर रहा हैं।
यह दर्शाता है कि राहु से त्रिकोण में शनि पर राहु की दृष्टि बीमारी के अलावा भी यह कोई बड़ी साजिश है। मकर का शनि अपनी सप्तम दृष्टि से कर्क राशि को देखता है जो हृदय का कारक है, शनि ठंडा ग्रह है वह राहु की दृष्टि में होने से जहर के समान कार्य कर रहा है।
इस महामारी की पीड़ा से मुक्ति के लिए हर मनुष्य को मां दुर्गा मां काली के रूपों की पूजा करनी चाहिए जैसे महिषासुर मर्दिनी के पाठ, काली के मंत्रों का जाप, दुर्गा के मंत्रों का जाप, हनुमान जी की उपासना करना चाहिए। इससे सभी रोगों से मुक्ति मिलेगी विश्व में शांति होगी।
आप अपने घर से पुराने व खराब इलेक्ट्रॉनिक और इलेक्ट्रिक समान को निकाल दें। मकान के उत्तर पूर्व में गंदगी ना रखे कूड़ेदान ना रखें कपड़े ना धोए इससे घर में बीमारी नहीं आएगी!